लोकसभा तथा राज्यसभा में अंतर (Differences Between Lok Sabha and Rajya Sabha)

लोकसभा

राज्यसभा

1. इसका कार्यकाल 5 वर्ष है तथा इससे पूर्व भी राष्ट्रपति प्रधानमंत्री की सलाह पर भंग कर सकता है | राज्यसभा स्थाई सदन है एवं प्रत्येक 2 वर्ष पर ⅓ सदस्य अवकाश ग्रहण कर लेते हैं एवं उतने ही नवनिर्वाचित होते हैं |
2. धन विधेयक मात्र लोकसभा में ही पुनः स्थापित किए जा सकता हैं | धन विधेयक राज्यसभा में प्रस्तुत नहीं किया जा सकता है |
3. जनता द्वारा लोकसभा के सदस्य सार्वजनिक एवं गुप्त मतदान द्वारा चुने जाते हैं | राज्यसभा के सदस्यों का चयन संबंधित राज्यों की विधानसभाएं में आनुपातिक प्रतिनिधित्व के आधार पर निर्वाचित करती हैं |
4. यह राज्य सूची के किसी विषय को राष्ट्रीय महत्व घोषित नहीं कर सकती है | राज्यसभा को राज्य सूची के किसी विषय को राज्य सभा में उपस्थित एवं मतदान देने वाले सदस्यों के कम से कम ⅔ सदस्यों द्वारा समर्थित संकल्प द्वारा राष्ट्रीय महत्व का घोषित करने का अधिकार है |
5. लोकसभा, राज्यसभा द्वारा पारित प्रस्ताव का अनुमोदन करती है | उपराष्ट्रपति को हटाने संबंधी प्रस्ताव राज्यसभा में ही प्रारंभ किया जाता है |
6. लोकसभा को किसी प्रकार के विशेष अधिकार की आवश्यकता नहीं है, क्योंकि राज्य सभा विघटित नहीं होती है | लोकसभा के भंग होने की स्थिति में आपातकाल की उद्घोषणा का अनुमोदन राज्यसभा करती है |

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